जल जीवन मिशन के तहत करवाई जा रही चार दिवसीय ट्रेनिग के तीसरे दिन सभी प्रतिभागियों ने महेंद्रगढ़ जिले के गांव कोथल खुर्द में फील्ड विजिट किया। कार्यक्रम के जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के नोडल कार्यकारी अधिकारी सूर्यकान्त ने बताया कि गांव कोथल खुर्द में कुल आबादी 2200 की है और कुल घर 550 के लगभग हैं।
गांव में जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के चार ट्यूबवेल हैं। जल जीवन मिशन के जल एवं स्वच्छता सहायक संगठन के राज्य सलाहकार लक्ष्मी कांत भाटिया ने कहा कि जल जीवन मिशन की लेवल तीन की प्रशिक्षण कार्यशाला के आयोजन से विलेज वाटर एंड सीवरेज कमेटी की कार्यक्षमता में बढ़ोतरी होगी। इस तरह के कार्यक्रम से सामुदायिक भागीदारी के साथ-साथ पेयजल के प्रति उपभोक्ताओं की संवेदनशीलता में इजाफा भी होगा। विलेज वाटर एंड सीवरेज कमेटी के सदस्य और जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के तकनीकी कर्मचारी जूनियर इंजीनियर, पंप आपरेटर की तकनीकी जानकारी में भी काफी सुधार होगा।
विलेज एक्शन प्लान वीएपी के माध्यम से ग्राम पंचायतों में पेयजल, जल संरक्षण, भूजल सुधार में इजाफा करने में मदद मिलेगी। ग्रामीण महिलाओं, आंगनबाड़ी वर्कर, आशा वर्कर को पानी को गुणवत्ता जांचने के बारे में भी जानने का मौका मिलेगा और ग्राम के बच्चों और ग्रामीणों को शुद्ध पेयजल मुहैया करवाने में उनकी अहम भूमिका रहेगी।
राष्ट्रीय मुख्य संसाधन केंद्र द्वारा पब्लिक हेल्थ एंड इंजीनियरिग डिपार्टमेंट और जल एंव स्वच्छता सहायक संगठन के सहयोग से आयोजित जल शक्ति मंत्रालय के जल जीवन मिशन लेवल तीन की इस तरह की ट्रेनिग से विलेज वाटर एंड सीवरेज कमेटी के साथ-साथ पब्लिक हेल्थ एंड इंजीनियरिग डिपार्टमेंट स्टाफ को तकनीकी सहायता मिलेगी और ग्रामीण समुदाय को सोशल इंजीनियर तैयार करने सहायक साबित होगी।
सरपंच परमजीत ने बताया कि प्रतिभागियों को प्राचीन जल स्त्रोतों को भी दिखाया दिखाया गया, जोहड़ों, पुराने कुओं को दिखाया गया और कैसे हम उन्हें वर्षा जल के जरिये रिचार्ज कर सकते हैं, उसके बारे में जानकारी दी गई। हमारा प्रयास रहेगा कि हम भी हमारे गांवों में पानी के बिल को लेकर जागरूकता लाएं और लोग स्वयं अपना पानी का बिल भरें।
जिला सलाहकार मंगतुराम सरसवा ने बताया कि हरियाणा देश का पहला ऐसा राज्य है। जहां ग्रामीण क्षेत्र में लोगों को एसएमएस के जरिये पानी का बिल भेजा जा रहा है। आम नागरिक डिजिटल मेथड अपनाते हुए गूगल पे, भीम पे, पेटीएम के जरिए या वायलेट के अन्य किसी भी एप के जरिये पानी का बिल बहुत आसानी से भर सकते हैं। सेफ वाटर नेटवर्क इंडिया के एक्सपर्ट जीतेन्द्र ने सहभागी ग्रामीण मूल्यांकन पीआरए के बारे में बताया। उन्होंने गांव में बने पांच प्वाइंट सिस्टम के बारे में और कचरा प्रबंधन के बारे में बताया।
जीतेन्द्र और उनकी टीम ने गांव में सोशल मैपिग भी करवाई। शाम को पूरी टीम ने माधोगड़ किले और बावड़ी की एक्सपोजर विजिटेड भी की। इस मौके पर जिला सलाहकार मंगतु राम सरसवा, श्वेता महाजन पूजा सिंह अरविद नागबानी एंड रीना कुमारी, अभिषेक पांडे, विभा पांडे, सरिता उपाध्याय, संजय पांडे, सुरेंद्र कुमार, रचना, दीपक टोकस, किशोर, बीआरसी विक्रम, बीआरसी अनीता व इंद्रजीत के अलावा अन्य गणमान्य नागरिक मौजूद थे।